Narendra Modi Biography in Hindi Essay
नरेन्द्र मोदी का जीवन परिचय
हमारे देश भारत के लोकतंत्र की सबसे बड़ी यही ताकत है की यदि आपमें देश के लिए कुछ कर गुजरने की इच्छा है तो अपने मेहनत और लगन के दम पर भारत के सर्वोच्च पद पर आसीन हो सकते है और ऐसा खूबसूरती हमारे देश के लोकतंत्र की ताकत है और इसी बात को हमारे देश के प्रधानमंत्री Narendra Modi ने सच कर दिखाया है कभी अपने बचपन के दिनों में पढाई के साथ साथ चाय बेचकर गुजारा करने वाले नरेन्द्र मोदी आज भारत के लोकतंत्र के सर्वोच्च शिखर प्रधानमन्त्री पद को हासिल किये है और प्रधानमन्त्री बनने के बाद तो बच्चे बच्चे के जुबान पर अपने प्रधानमन्त्री नाम याद है वह है – “मोदी”
तो आईये जीवन की शुरुआत साधारण तरीके से करने वाले अपने असाधारण मेहनत और लगन के बल पर सफलता प्राप्त करने वाले Modi Biography In Hindi | जीवनी को जानते है
भारत के प्रधानमन्त्री नरेन्द्र मोदी का जीवनी
Narendra Modi Biography in Hindi Essay
नाम – नरेन्द्र मोदी Narendra Modi
पूरा नाम – नरेन्द्र दामोदर दास मोदी (उपनाम – मोदी)
जन्मतिथि – 17 सितम्बर 1950
जन्मस्थान – वडनगर गाँव, मेहसाणा जिला, गुजरात राज्य (वर्तमान)
पिता – दामोदर दास मूलचंद (Damodar Das Modi)
माता – हीराबेन मोदी (Hiraben Modi)
पत्नी – जशोदाबेन (1968 में विवाह हुआ)
धर्म – हिन्दू (Hindu)
राजनैतिक दल – भारतीय जनता पार्टी (BJP)
पद – गुजरात राज्य के 2001 से 2014 तक मुख्यमंत्री, 2014 से वर्तमान तक 15वे प्रधानमन्त्री
नरेन्द्र मोदी की जीवनी
Narendra Modi Biography in Hindi
नरेन्द्र मोदी भारत के प्रधानमन्त्री के रूप में आज के समय में सबसे ज्यादा चर्चित व्यक्ति है कभी चाय बेचकर गुजारा करने वाले आज भारत का बच्चा बच्चा नरेंद्र मोदी के नाम से अपरिचित नही है.
नरेन्द्र मोदी भारत देश के पहले ऐसे प्रधानमन्त्री है जिनका जन्म भारत के आजाद होने के बाद हुआ है नरेन्द्र मोदी का जन्म 17 सितम्बर 1950 को गुजरात राज्य के मेहसाणा जिले के वडनगर ग्राम में हुआ,
इनके पिता दामोदर दास मूलचंद चाय की छोटी सी दुकान चलाते थे जिस कारण से स्कूल की पढाई के बाद नरेन्द्र मोदी अपने पिता के कार्यो में हाथ बटाते थे और ग्राहकों को चाय बेचा करते थे इनकी दुकान रेलवे स्टेशन के पास थी तो जब ट्रेन आती थी तब नरेंद्र मोदी रेल के डिब्बो में भी चाय बेचते थे इनके परिवार की आर्थिक स्थिति बहुत ख़राब थी जिसके चलते इनकी माता हीराबेन घर की आर्थिक सुधारने के लिए दुसरो के घर जाकर बर्तन साफ करती थी.
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इनके पिता की 6 संताने है जिनमे नरेन्द्र मोदी तीसरे स्थान पर आते है, वडनगर के इनके प्राइमरी स्कूल मास्टर के अनुसार बचपन में नरेंद्र मोदी एक औसत श्रेणी के छात्र थे, लेकिन स्कूल वाद- विवाद प्रतियोगिता, नाटक और भाषण देने सर्वश्रेष्ठ और अव्वल दर्जे के थे जब ये स्कूल में भाषण देते थे तो इनके भाषण सुनने वाला हर कोई मोहित हो जाता था, बचपन से नरेंद्र मोदी को देशप्रेम की भावना कूटकूट भरी हुई थी जिसके चलते देशभक्ति के प्रति प्रेम की भावना इनके भाषणों में देखने को मिलती थी.
और फिर आगे की स्नातक की पढाई राजनीती विज्ञान से किया, और फिर मात्र 13 वर्ष की आयु में इनकी शादी जशोदाबेन के साथ कर दिया गया लेकिन बचपन से कुछ अलग करने की चाहत रखने वाले नरेंद्र मोदी को शादी के विवाह बंधन में कोई रूचि नही थी इसके बाद तो किसी को पता भी नही था की Narendra Modi की शादी भी हुई है लेकिन जब इसका जिक्र 2014 के लोकसभा चुनाव में किया तो सम्पूर्ण मीडिया जगत में एक भूचाल सा आ गया था लेकिन खुद नरेंद्र मोदी का मानना है की देश की सेवा के लिए अपने परिवार को बीच में नही लाना चाहते है सो इसका जिक्र वे पहले कभी खुले मंच पर नही करते है लेकिन संविधान की शपथ पत्र में निजी जानकारी देना अनिवार्य है इसलिए वे शादी की बात छुपा भी नही सकते है.
Narendra Modi Ka Jivan Parichay
और Narendra Modi की देशभक्ति की भावना उनके बचपन से ही देखने को मिलती है सन 1965 में भारत पाक युद्ध में भारतीय जवानों की खूब सेवा किया करते थे.
परन्तु 17 वर्ष की आयु के घर की आर्थिक स्थिति बिगड़ने के कारण Narendra Modi अपना घर छोड़कर चले गये इसके बारे में किसी को भी नही पता था की आखिर Narendra Modi कहा गये है.
और घर छोड़ने के उपरांत Narendra Modi उत्तर पूर्व भारत की ओर रुख किया जहा वे स्वामी विवेकानंद के विचारो से अत्यधिक प्रभावित थे जिसके चलते घर से निकलने के बाद स्वामी विवेकानंद द्वारा स्थापित हिन्दू आश्रम में गये थे इसके बाद कोलकाता के बेल्लुर मठ, अल्मोड़ा के रामकृष्ण आश्रम में गये थे और फिर कुछ समय बिताने के बाद हिमालय में ऋषिकेश की यात्रा किया और फिर 2 वर्ष की आध्यात्मिक यात्रा के पश्चात वे वापस घर लौट आये, लेकिन इन यात्रा के दौरान मोदी कहा कहा गये थे लोगो में कई मतभेद है क्युकी इसका कोई लिखित प्रमाण नही है जिसका खुलासा खुद Narendra Modi ही कर सकते है.
घर लौटने के पश्चात महज 2 हफ्ते बिताने के पश्चात वे अपने चाचा के यहाँ राजकोट चले गये और ट्रांसपोर्ट के काम में हाथ बटाने लगे लेकिन Narendra Modi का उदेश्य ही कुछ और था फिर वे पाने चाचा के यहाँ का काम छोड़कर पूर्ण रूप से एक सक्रिय सदस्य के रूप आरएसएस (RSS) ज्वाइन कर लिया था आरएसएस एक ऐसा सामाजिक संघटन है जो की देश की सामाजिक, आर्थिक और देश की सांस्कृतिक धरोहर को सहेजने का कार्य करता है.
इसके बाद आरएसएस के सक्रिय सदस्य के रूप में Narendra Modi देश भर के विभिन्न क्षेत्रो का भ्रमण किया और लोगो की समस्याओ का नजदीकी रूप से जानने का प्रयास किया.
नरेंद्र मोदी का राजनितिक जीवन
Narendra Modi Political Life Essay in Hindi
आरएसएस ज्वाइन करने के बाद Narendra Modi का सक्रिय राजीनीतिक जीवन की शुरुआत देखने को मिलता है 1975 में जब देश में आपातकाल (Emergency) लागी कर दिया था तो आरएसएस जैसी संस्थाओ को बैन कर दिया गया था जिसके चलते आरएसएस के सक्रिय सदस्य के रूप में भेष बदलकर लोगो की सेवा करते रहे और आपातकाल का भरपूर विरोध भी किया, जिससे प्रभावित होकर उन्हें भारतीय जनता पार्टी के सदस्य के रूप में उन्हें स्थान मिला और फिर यही से Narendra Modi भारतीय जनता पार्टी (BJP) के एक सदस्य रूप में अनेको कार्य का भार दिया गया.
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और फिर 1990 में भारतीय लोकतंत्र में मिलीजुली सरकारों का उदय हुआ तो Narendra Modi ने भाजपा के प्रचारक के रूप में कार्य करने लगे थे जिसके मेहनत का रंग 1995 के चुनावो में देखने को मिलता है जिसके परिणाम स्वरुप गुजरात के चुनाव के भाजपा की डॉ तिहाई से बहुत मिला इसके बाद नरेंद्र मोदी की अगुवाई और देखरेख में सोमनाथ से अयोध्या से रथ यात्रा निकाली गयी इसके बाद मुरली मनोहर जोशी की कन्याकुमारी से कश्मीर की रथ यात्रा भी निकाला गया जिसकी सारी जिम्मेदारी नरेद्र मोदी के देखरेख में हुई थी जिसकी सफलता को देखकर उन्हें दिल्ली बुला लिया गया और फिर 5 राज्यों के संघटन के लिए इन्हें पार्टी का केन्द्रीय मंत्री भी नियुक्त किया गया.
Narendra Modi Ki Jivani
और आगे चलकर गुजरात में 2001 में जब गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री केशुभाई पटेल की बीमारी अवस्था के चलते उन्हें पद से मुक्त करके नरेन्द्र मोदी को गुजरात का मुख्यमंत्री बना दिया गया.
गुजरात के मुख्यमंत्री के रूप में नरेन्द्र मोदी
Narendra Modi as a Chief Minister of Gujrat details in Hindi
सन 2001 में गुजरात के मुख्यमंत्री पद सम्भालने के बाद Narendra Modi ने अपना पहला कार्यकाल 7 अक्टूबर 2001 से शुरू किया जिसके बाद अपने विशिष्ट जीवन शैली के लिए जाने वाले Narendra Modi ने 2001 से लगातार 2014 तक 3 बार गुजरात के मुख्यमंत्री पद के रूप में सम्भाला, जिस दौरान Narendra Modi ने गुजरात के विकास के लिए अनेको कार्य किये जो की Narendra Modi के गुजरात विकास माडल की चर्चा अब पूरे देश में की जाती है.
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गुजरात मुख्यमंत्री के रूप में Narendra Modi को कई बार कई दिक्कतों का सामना भी करना पड़ा है 26 जनवरी 2002 में आये प्रलयकारी भूकम्प ने पूरे गुजरात की जीवन और अर्थव्यवस्था को ठस नहस कर दिया था लेकिन अपने असीमित क्षमता के बल पर Narendra Modi ने इस कठिन घड़ी का धैर्य से मुकाबला किया और उसी साल एक बार फिर कारसेवको का गोधरा काण्ड के चलते पूरा गुजरात फिर से एक बार दंगो की आग की चपेट में आ गया था जिस दंगे में कारसेवको को ट्रेन में जिन्दा जला दिया गया था.
और फिर दंगे भड़कने के बाद अनेक मुस्लिम हिन्दू भी मारे गये थे इन घटना का आरोप भी विपक्ष दलों पर Narendra Modi पर ही लगाया जा रहा था लेकिन भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने Narendra Modi को कोई भी गवाह न मिलने के बाद इन्हें दोषी नही माना है और इन्हें बरी कर दिया गया.
Narendra Modi Biography Hindi
इसके बाद तो नरेन्द्र मोदी ने गुजरात के विकास के लिए अपनी हिन्दुत्ववादी छवि से हटकर आर्थिक विकास की बात किये और सबको साथ लेकर चलने वाले नरेद्र मोदी का एक ही लक्ष्य था सबका साथ सबका विकास जो की आज के समय में गुजरात के विकास को देखकर इसका अंदाजा लगाया जा सकता है गुजरात के मुख्यमंत्री पद को सम्भालते हुए नरेंद्र मोदी ने अनेक योजनाये लागू की जो की काफी सफल रही जिनमे पंचामृत योजना, सुजलाम सुफलाम, कृषि महोत्सव, बेटी बचाओ, ज्योतिग्राम योजना जैसे अनेक योजनाये है.
भारत के प्रधानमन्त्री के रूप में नरेन्द्र मोदी
Narendra Modi as a Prime Minister of India Details in Hindi
जून 2013 में Narendra Modi को बीजेपी के प्रधानमन्त्री पद के रूप घोषित किया गया इसके बाद तो कभी न थकने वाले नरेन्द्र मोदी ने पूरे देश में घूम घूमकर पूरे देश में चुनावी जीत के लिए प्रचार किया और फिर 2014 में भारतीय जनता पार्टी की बम्पर जीत हुई और Narendra Modi के अगुवाई में 534 लोकसभा सीटो में 282 सीटे जीतकर इस जीत को ऐतिहासिक बनाया और इसी जीत के साथ ही Narendra Modi भारत देश के 15वे प्रधानमन्त्री पद को सम्भाला और नरेन्द्र मोदी भारत के ऐसे प्रधानमन्त्री भी ने जो की भारत के स्वतंत्र होने बाद जन्मे हुए है.
नरेन्द्र मोदी का व्यक्तित्व और छवि
Narendra Modi Life Personality in Hindi
नरेन्द्र मोदी की छवि अदभुत व्यक्ति की है Narendra Modi काम करते हुए कभी भी थकते नही है और अनुशासन बहुत ही प्रिय है जिसकी झलक प्रधानमन्त्री बनने के बाद ही अपने सभी सांसदों और देश को कर्मचारियों को नसीहत देते हुए कहा की अब लोग ऑफिस कितने बजे आ रहे है ये हमारे देश की न्यूज़ नही बनना चाहिए यानी सभी लोग निर्धारित समय पर ऑफिस आये.
नरेंद्र मोदी से जुड़े 56 रोचक तथ्य
इसके अतिरिक्त नरेंद्र मोदी खुद को जनता से बड़ा कभी नही मानते है जिसकी झलक उनके कार्यो से भी देखने को मिलता है Narendra Modi खुद कहते है की यदि आप 12 घंटे काम करेगे तो आपके लिए 13 घंटे काम करूँगा और यदि आप 18 घंटे काम करते है तो मै खुद को 19 घंटे काम में लगा दूंगा और ऐसा मोदी हमेसा से करते आ रहे है.
इसके अतिरिक्त Narendra Modi कभी भी कोई बड़े फैसले लेने से हिचकिचाते नही है है जिसकी राष्ट्रिय स्तर पर झलक नोटबंदी के रूप में देखने को मिलता है इसके बाद तो जनता की मांग को ध्यान में रखते हुए पाकिस्तान पर सर्जिकल स्ट्राइक करने से भी जरा नही घबराए की अगर मिशन पूर्ण नही हुआ तो हमारे देश के वीर जवानों को जान भी जा सकती थी लेकिन अपने अडिग फैसलों को हमारे देश के जवानों ए बखूबी अंजाम दिया.
लाल बहादुर शास्त्री जीवन परिचय
और यहाँ तक की देश की पुरानी अर्थव्यवस्था से छुटकारा दिलाते हुए एक राष्ट्र एक टैक्स का सपना साकार करते हुए पूरे देश में GST लागु किया गया और यही नही Narendra Modi हमेसा अपने आगे की प्लान को लेकर हमेसा सतर्क रहते है जिसका जिक्र के रूप में हम सभी 2019 के आम चुनावो में भारतीय जनता पार्टी की जीत को लेकर भी है.
नरेन्द्र मोदी के अनमोल वचन और विचार
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